चमोली

महाविद्यालय गोपेश्वर में वर्षा जल संरक्षण की अनिवार्यता विषय पर दो दिवसीय सेमीनार का आयोजन किया गया।

रिपोर्ट  लोकेन्‍द्र रावत

राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय गोपेश्वर में वर्षा जल संरक्षण की अनिवार्यता विषय पर दो दिवसीय सेमीनार का आयोजन किया गया। उक्त विषय पर आयोजित पोस्टर तथा भाषण प्रतियोगिता में क्रमशः अक्षिता, सिमरन व पूनम (संयुक्त) प्रथम स्थान पर रहे।

सेमिनार के द्वितीय दिवस पर मुख्य वक्ता जड़ी बूटी शोध संस्थान मंडल के वैज्ञानिक डॉ सीपी कुनियाल ने छात्र- छात्राओं को वर्षा जल संरक्षण की विभिन्न विधियों के विषय में बताया।

विशिष्ट वक्ता डॉ हर्षी खंडूड़ी व डॉ मनीष मिश्रा ने अपने व्याख्यानों द्वारा छात्र- छात्राओं को धरातलीय जल तथा भूगर्भ जल भंडार के भंडार के संकट के समाधान पर तथा वर्षा के जल को विकल्प के रूप में इस्तेमाल करने हेतु प्रेरित किया।

कार्यक्रम अध्यक्ष प्राचार्य प्रो. केएस नेगी ने कहा कि वर्षा जल संचयन पानी की बढ़ती कमी को दूर करने पर मददगार साबित हो सकता है।

डॉ दिगपाल कंडारी एवम डॉ संध्या गैरोला के संचालन में आयोजित कार्यक्रम में संयोजक डॉ रूपेश कुमार, सहसंयोजक डॉ प्रियंका उनियाल, डॉ एसपी उनियाल, डॉ अभय कुमार, डॉ वंदना लौहनी, डॉ राजकुमार कश्यप, डॉ रविशंकर कुनियाल, डॉ भावना मेहरा, डॉ रंजू बिष्ट, डॉ सुनील भंडारी, डॉ दिनेश पंवार आदि उपस्थित रहे।

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